Britain Government PM Rishi Sunak take big Decision on UK Visa

Britain Government: ऋषि सुनक सरकार ने लिया बड़ा फैसला, भारतीयों को होगा बड़ा नुकसान…!

Britain Government: ब्रिटेन की ऋषि सुनक सरकार ने अपनी वीजा नीति में बड़ा बदलाव किया है। इसका उद्देश्य कानूनी रूप से ब्रिटेन आने वाले अप्रवासियों की संख्या को कम करना है। बदलावों के तहत ब्रिटेन में रहने और काम करने वाले विदेशी नागरिक अब अपने परिवार को अपने साथ नहीं ला सकेंगे। इसे भारतीयों के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है। नियमों में बदलाव के बाद अब ब्रिटेन में काम करने के इच्छुक लोगों को वर्क वीजा तभी मिलेगा, जब उनकी सैलरी ज्यादा होगी।

ब्रिटिश गृह सचिव जेम्स क्लेवरली ने संसद को बताया कि कुशल श्रमिक श्रेणी के तहत वीजा के लिए आवेदन करने के लिए न्यूनतम वेतन 38,700 पाउंड (40.73 लाख रुपये) होना चाहिए। पहले इसकी सीमा 26,200 पाउंड थी। इसी तरह पारिवारिक वीजा श्रेणी में आवेदन करने के लिए न्यूनतम वेतन भी बढ़ाकर 38,700 पाउंड कर दिया गया है। पहले यह 18,600 पाउंड था। हालाँकि, यह शर्त स्वास्थ्य और सामाजिक देखभाल से संबंधित नौकरियों में लगे विदेशी श्रमिकों पर लागू नहीं होगी। लेकिन फिर भी वह अपने परिवार को ब्रिटेन नहीं ला पाएंगे।

क्यों लिया गया ये फैसला?

दरअसल, ब्रिटेन (Britain Government) लंबे समय से प्रवासियों की बढ़ती संख्या से परेशान है। प्रवासियों की बढ़ती संख्या का लंबे समय तक राजनीतिकरण भी हो रहा है। प्रवासियों की संख्या कम करने के लिए ही वीजा नीति में बदलाव किया गया है। जेम्स ने संसद को बताया कि नए वीज़ा नियमों के कारण पिछले साल की तुलना में इस साल तीन लाख कम लोग आएंगे।
उन्होंने कहा कि ये नए नियम 2024 की पहली छमाही में लागू होंगे। इस साल की शुरुआत में मई में तत्कालीन गृह सचिव सुएला ब्रेवरमैन (Britain Government) ने भी छात्र वीजा पर नए नियम पेश किए थे। इन नियमों के तहत, छात्र वीजा पर ब्रिटेन आने वाले छात्र अपने परिवार को तभी ला सकते हैं, जब वे किसी विशेष विश्वविद्यालय में पीजी कोर्स कर रहे हों।

कमी वाले व्यवसाय की सूची भी बदली जाएगी

ब्रिटेन में ‘अल्पकालिक व्यवसाय सूची’ है जिसके तहत कंपनियां कम अवधि के लिए श्रमिकों को काम पर रख सकती हैं। वेतन भी कम है। इसमें उन नौकरियों की सूची है जिनके तहत श्रमिकों को वीजा जारी किया जाता है। जेम्स क्लेवरली ने कहा कि सूची की भी समीक्षा की जाएगी और इसमें शामिल नौकरियों में कटौती की जाएगी।

भारतीयों पर क्या असर पड़ेगा?

हर साल हजारों भारतीय नागरिक काम और पढ़ाई के लिए ब्रिटेन  जाते हैं। आंकड़ों के मुताबिक, स्वास्थ्य और देखभाल वीजा लेने वाले भारतीय नागरिकों की संख्या में 76% का उछाल आया है। हालांकि, स्किल्ड वर्कर श्रेणी में वीजा लेने वाले भारतीयों की संख्या में थोड़ी गिरावट आई है। पिछले साल सितंबर तक 20,360 भारतीयों को वीजा दिया गया था। जबकि इस साल सितंबर तक 18,107 भारतीयों को वीजा दिया गया है। छात्र वीजा श्रेणी में भारतीयों का दबदबा है।
आंकड़ों के मुताबिक, इस साल सितंबर तक 1,33,237 भारतीय छात्रों को छात्र वीजा दिया गया है। वहीं, पारिवारिक वीजा पाने वाले नागरिकों में नाइजीरिया के बाद भारतीय दूसरे स्थान पर हैं। इस साल सितंबर तक 43,445 भारतीयों को पारिवारिक वीजा दिया गया है।

यह भी पढ़ें – Telangana New CM: Revanth Reddy होंगे तेलंगाना के अगले मुख्यमंत्री, 7 दिसंबर को होगा शपथ ग्रहण समारोह

OTT INDIA आपको खबरों से रखेगा अपडेट

OTT INDIA देश का नंबर 1 डिजिटल प्लेटफॉर्म है- जो देशवासियो को हर खबर में सबसे आगे रखता है। OTT इंडिया पर पढ़ें नेशनल, इंटरनेशनल, इलेक्शन, बिजनेस, स्पोर्ट्स, एंटरटेनमेंट समेत सभी खबरें। अब हर समाचार आपकी उंगलियों पर, हमारा नवीनतम Android और iOS ऐप डाउनलोड करें। ताजा खबरों से अपडेट रहने के लिए हमसे सोशल मीडिया पर जुड़ें।