NCP vs NCP: लोकसभा चुनाव से पहले सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला, शरद पवार गुट को मिली ये परमिशन
NCP vs NCP: लोकसभा चुनाव से पहले एनसीपी बनाम एनसीपी मामले में सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा आदेश दिया है. अदालत ने शरद पवार के समूह को लोकसभा और विधानसभा चुनावों के लिए पार्टी के नाम ‘राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी-शरद चंद्र पवार’ का उपयोग करने की अनुमति दी। अदालत ने शरद पवार गुट को लोकसभा और विधानसभा चुनावों के लिए पार्टी के प्रतीक ‘मैन ब्लोइंग ट्रम्पेट’ का उपयोग करने की भी अनुमति दी। अदालत ने चुनाव आयोग को लोकसभा और विधानसभा चुनावों के लिए राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी-शरद चंद्र पवार के चुनाव चिन्ह ‘मैन ब्लोइंग ट्रम्पेट’ को मान्यता देने का निर्देश दिया।
चुनाव आयोग को दिए गए ये निर्देश:
सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग को निर्देश दिया है कि वह लोकसभा और विधानसभा चुनावों के लिए चुनाव चिन्ह ‘मैन ब्लोइंग ट्रम्पेट’ किसी अन्य पार्टी को आवंटित न करे। इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने अजित पवार के समूह से सार्वजनिक नोटिस जारी करने को कहा कि एनसीपी का चुनाव चिह्न ‘घड़ी’ विचाराधीन है और इसका इस्तेमाल न्यायिक निर्णय के अधीन है.
अजित पवार गुट को नोटिस देना होगा:
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अजित पवार ग्रुप को चुनाव संबंधी सभी विज्ञापनों में विचाराधीन ‘घड़ी’ चुनाव चिह्न घोषित करना होगा. अदालत ने कहा कि अजीत पवार समूह को अंग्रेजी, हिंदी, मराठी मीडिया में एक सार्वजनिक नोटिस जारी करने और अपने सभी अभियान विज्ञापनों में इसका उल्लेख करने का निर्देश दिया गया है। इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने अजित पवार गुट से यह सार्वजनिक नोटिस जारी करने को कहा कि एनसीपी का चुनाव चिह्न ‘घड़ी’ विचाराधीन है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के अनुसार इसका इस्तेमाल न्यायिक निर्णय के अंतर्गत रहेगा।
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