Wife says i can leave my husband, but not Instagram and Facebook

सोशल मीडिया की लत ने बिगाड़े रिश्ते, महिला ने कहा- “पति छोड़ दूंगी, पर फेसबुक-इंस्टाग्राम नहीं!

बिहार के कटिहार जिले से एक ऐसा मामला सामने आया है, जिसने सोशल मीडिया के बढ़ते प्रभाव और उसकी लत पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। एक महिला ने यह कहकर सबको हैरान कर दिया कि वह अपने पति को छोड़ सकती है, लेकिन इंस्टाग्राम और फेसबुक पर तस्वीरें पोस्ट करना नहीं छोड़ेगी। मामला पुलिस से होते हुए परिवार परामर्श केंद्र तक पहुंचा, जहां पति ने शिकायत की कि उनकी पत्नी सोशल मीडिया पर इतनी व्यस्त रहती है कि पारिवारिक जिम्मेदारियों को नजरअंदाज कर देती है।

क्या है पूरा मामला?

मामला कटिहार जिले का है, जहां एक पति ने परिवार परामर्श केंद्र में शिकायत दर्ज कराई कि उनकी पत्नी दिनभर सोशल मीडिया पर व्यस्त रहती है। उन्होंने कहा कि पत्नी अनजान लोगों से बातचीत करती है और अलग-अलग सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपनी तस्वीरें पोस्ट करती है। पति का आरोप है कि उनकी पत्नी को परिवार की कोई परवाह नहीं है और वह सोशल मीडिया पर ज्यादा समय बिताती है।

पति को छोड़ दूंगी, लेकिन सोशल मीडिया नहीं!

जब पुलिस और परामर्श केंद्र ने महिला से इस बारे में पूछा, तो उनका जवाब चौंकाने वाला था। महिला ने कहा कि सोशल मीडिया उनका निजी मामला है और उन्हें अपनी तस्वीरें पोस्ट करने का पूरा हक है। उन्होंने साफ कहा कि वह अपने पति को छोड़ सकती हैं, लेकिन इंस्टाग्राम और फेसबुक पर तस्वीरें डालना नहीं छोड़ेंगी।

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परामर्श केंद्र की ने क्या कहा?

परिवार परामर्श केंद्र के सदस्य दिलीप कुमार दीपक ने बताया कि सोशल मीडिया का लोगों की मानसिकता पर गहरा प्रभाव पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया के कारण लोगों के बसे-बसाए परिवार बिखर रहे हैं और पति-पत्नी के रिश्ते भी टूट रहे हैं। दीपक ने बताया कि महिला को काफी समझाने के बाद भी वह नहीं मानी और उन्होंने स्पष्ट कर दिया कि वह सोशल मीडिया पर पोस्ट करना नहीं छोड़ेंगी।

स्मार्टफोन की लत ने बिगाड़े रिश्ते

इस मामले ने एक बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है कि क्या सोशल मीडिया का बढ़ता प्रभाव हमारे रिश्तों को कमजोर कर रहा है? क्या डिजिटल प्लेटफॉर्म की लत हमारी पारिवारिक संरचना को नुकसान पहुंचा सकती है? अब यह देखना बाकी है कि आने वाले दिनों में इस मामले का क्या हल निकलता है और क्या पति-पत्नी के बीच सुलह हो पाती है।

साइबर मीडिया रिसर्च के एक ताजा सर्वे के मुताबिक स्मार्टफोन और सोशल मीडिया एप्स ने परिवार के रिश्तों को गहराई से प्रभावित किया है। सर्वे के मुताबिक, 76% बच्चे और 84% अभिभावक चाहते हैं कि वे एक-दूसरे के साथ ज्यादा समय बिताएं, लेकिन स्मार्टफोन और सोशल मीडिया की लत उन्हें ऐसा करने से रोक रही है। यह सर्वे स्मार्टफोन निर्माता कंपनी वीवो और साइबर मीडिया रिसर्च द्वारा कराया गया है।

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क्या कहती है सर्वे रिपोर्ट?

सर्वे के अनुसार, 94% बच्चे चाहते हैं कि उनके माता-पिता के स्मार्टफोन में सिर्फ कॉलिंग, मैसेजिंग और कैमरा जैसे बेसिक फीचर हों। वे नहीं चाहते कि उनके माता-पिता के फोन में सोशल मीडिया, इंटरटेनमेंट और गेमिंग एप्स हों। वहीं, 75% अभिभावक इस बात को लेकर चिंतित हैं कि उनके बच्चे स्मार्टफोन की लत की वजह से परिवार के साथ सार्थक रिश्ते नहीं बना पा रहे हैं।

सर्वे में पाया गया कि अभिभावक रोजाना औसतन पांच घंटे से अधिक और बच्चे चार घंटे स्मार्टफोन पर समय बिताते हैं। दोनों ही इनमें से अधिकतर समय सोशल मीडिया और इंटरटेनमेंट एप्स पर बिताते हैं। 76% अभिभावक और 71% बच्चों ने माना कि वे स्मार्टफोन के बगैर नहीं रह सकते। 64% बच्चों ने कहा कि उन्हें स्मार्टफोन की बुरी लत लग चुकी है।

60% से अधिक बच्चों ने बताया कि अगर उनके दोस्त सोशल मीडिया एप्स से हट जाएं, तो वे भी इनका इस्तेमाल छोड़ सकते हैं। तीन में से एक बच्चे ने यहां तक कहा कि सोशल मीडिया एप्स का आविष्कार ही नहीं होना चाहिए था।

वीवो इंडिया के कॉरपोरेट स्ट्रेटजी हेड गीतज चन्नना ने कहा कि टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल सकारात्मक बदलाव और जिंदगी को आसान बनाने के लिए होना चाहिए, लेकिन स्मार्टफोन वास्तविक जीवन के रिश्तों में रुकावट बन सकता है।