44वीं वाहिनी पीएसी मेरठ के एक जवान ने ड्यूटी में लापरवाही बरतने के लिए जारी कारण बताओ नोटिस पर ऐसा जवाब दिया कि मामला सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। जवान ने अपने पत्र में लिखा कि वह मानसिक रूप से परेशान है और उसकी पत्नी से चल रहे विवाद के कारण वह रात को सो नहीं पाता। उसने यह भी लिखा कि सपने में उसकी पत्नी उसकी छाती पर बैठकर खून पीने का प्रयास करती है।
जवान ने मांगा भगवान की शरण में जाने का रास्ता
जवान ने अपने जवाब में आगे लिखा कि वह डिप्रेशन और चिड़चिड़ेपन की दवा ले रहा है, लेकिन उसे कोई राहत नहीं मिल रही। उसने लिखा, “मेरी जीने की शक्ति खत्म हो चुकी है। कृपया मुझे भगवान की शरण में जाने का रास्ता बताएं, ताकि मैं अपने दुखों से मुक्ति पा सकूं।” जवान के इस जवाब ने अधिकारियों को चिंता में डाल दिया और मामले की जांच शुरू कर दी गई।
कमांडेंट ने शुरू कराई मामले की जांच
जब यह पत्र सोशल मीडिया पर वायरल हुआ, तो 44वीं वाहिनी पीएसी के कमांडेंट सचिंद्र पटेल ने मामले की जांच के आदेश दिए। अधिकारियों ने यह पता लगाने की कोशिश शुरू कर दी कि यह जवाब किस जवान ने दिया था और क्या वह वास्तव में मानसिक तनाव से गुजर रहा है। साथ ही, यह भी जांच हो रही है कि यह पत्राचार सोशल मीडिया पर कैसे लीक हुआ।
प्रभारी दलनायक ने जारी किया था नोटिस
यह नोटिस 17 फरवरी 2025 को 44वीं वाहिनी पीएसी मेरठ के प्रभारी दलनायक मधुसूदन शर्मा द्वारा जारी किया गया था। इसमें जवान से ड्यूटी में लापरवाही को लेकर जवाब मांगा गया था। लेकिन जवान के जवाब के बाद मामला और गंभीर हो गया है, क्योंकि उसकी मानसिक स्थिति की जांच जरूरी हो गई है।
अधिकारियों की चिंता: कहीं कोई घटना न हो जाए
पीएसी अधिकारियों का मानना है कि जवान की मानसिक स्थिति की गहन जांच की जानी चाहिए, ताकि कोई अप्रिय घटना न हो। जवान ने पत्र में यह भी बताया कि उसकी दवाएं चल रही हैं, जिससे साफ जाहिर होता है कि वह गंभीर मानसिक तनाव में है। अधिकारियों ने मनोवैज्ञानिकों की मदद लेने और जवान को उचित परामर्श देने का निर्णय लिया है।
सोशल मीडिया पर वायरल हुआ मामला
यह मामला सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया, जहां लोग जवान के जवाब पर हैरानी जता रहे हैं। कुछ लोगों ने जवान के प्रति सहानुभूति दिखाई, तो कुछ ने पीएसी के अनुशासन पर सवाल खड़े किए। फिलहाल, कमांडेंट ने जांच बैठा दी है और जल्द ही रिपोर्ट सामने आने की उम्मीद है।
जवान की मानसिक स्थिति पर चिंता
जवान के पत्र से यह साफ हो गया है कि वह गंभीर मानसिक तनाव से गुजर रहा है। उसने लिखा कि वह डिप्रेशन और चिड़चिड़ेपन की दवा ले रहा है, लेकिन उसे कोई राहत नहीं मिल रही। उसकी मानसिक स्थिति को देखते हुए अधिकारियों ने मनोवैज्ञानिकों की मदद लेने का फैसला किया है।
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