हिमानी हत्याकांड: न्याय मिलने तक परिवार का अंतिम संस्कार से इनकार, मां सविता ने कांग्रेसियों पर जताया शक

Himani Narwal Murder: हरियाणा में कांग्रेस नेता हिमानी नरवाल की हत्या के बाद उनके परिवार ने भी सख्त रुख अपना लिया है। बता दें कि हिमानी के परिवार ने उनका शव लेने से इनकार कर दिया है। साथ ही कह दिया है कि जब तक हत्यारे पकड़े नहीं जाते, तब तक वे अंतिम संस्कार नहीं करेंगे। हिमानी की मां सविता रानी ने कहा कि चुनाव और पार्टी ने उनकी बेटी की जान ले ली है। उन्होंने कहा, “जब तक मेरी बेटी को न्याय नहीं मिल जाता, मैं उसका अंतिम संस्कार नहीं करूंगी। मेरे बड़े बेटे की भी 2011 में हत्या कर दी गई थी और हमें कभी न्याय नहीं मिला।”

परिवार ने शब लेने से किया मना

हिमानी की मां और भाई जतिन नरवाल ने मीडिया से रूबरू होते समय बताया कि वह जब तक अपनी बिटिया का दाह संस्कार नहीं करेंगे तब तक की आरोपियों को पकड़ नहीं लिया जाता। परिवार का कहना है कि हिमानी पिछले 10 सालों से कांग्रेस पार्टी से जुड़ी हुई थी और राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा में भी शामिल हुई थी। हिमानी की मां ने कहा कि उनकी बेटी ने पार्टी के लिए कड़ी मेहनत की, लेकिन चुनाव के बाद वह निराश हो गई थी। उन्होंने कहा, “वह शादी करने के लिए भी राजी हो गई थी। मैंने सुबह आशा हुड्डा को फोन किया था, लेकिन मेरा फोन रिसीव नहीं हुआ।”

हिमानी की मां ने लगाए आरोप

हिमानी की मां सविता रानी ने कहा कि उनकी बेटी कांग्रेस पार्टी में एक सक्रिय कार्यकर्ति थी। चुनाव के दौरान कई बार बहस और झगड़े हो जाते थे। उन्होंने आरोप लगाया कि पार्टी के कुछ लोग हिमानी के दुश्मन बन गए थे। सविता ने कहा कि “28 फरवरी को तो उनकी बेटी घर पर ही थी। हमें पुलिस स्टेशन से घटना के बारे में फोन आया। मेरी बेटी आशा हुड्डा (भूपिंदर सिंह हुड्डा की पत्नी) के बहुत करीब थी। जब तक उसे न्याय नहीं मिल जाता, मैं उसका अंतिम संस्कार नहीं करूंगी।”

जांच के लिए गठित हुईं 5 टीमें

हिमानी नरवाल की हत्या के बाद पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए तुरंत जांच शुरू कर दी है। FSL (फोरेंसिक साइंस लेबोरेटरी) की टीम मौके पर पहुंची और साक्ष्य जुटाए। पुलिस ने बताया कि वे हर एंगल से इस केस की जांच कर रही है। सूत्रों के मुताबिक, जांच के लिए कुल 5 टीमें गठित की गई हैं।

सियासी महकमें में बढ़ी हलचल

हिमानी की हत्या ने हरियाणा में राजनीतिक हलचल बढ़ा दी है। कांग्रेस नेताओं ने इस घटना की निष्पक्ष जांच की मांग की है। हिमानी के परिवार ने आरोप लगाया कि पार्टी के कुछ लोगों ने उनकी बेटी के दुश्मन बना लिए थे। हिमानी की मां ने कहा, “मेरे बड़े बेटे की 2011 में हत्या कर दी गई और हमें कभी न्याय नहीं मिला। इसलिए, मैं दूसरे बेटे की जान बचाने के लिए BSF कैंप ले गई।”

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