विदेश मंत्रालय (MEA) ने गुरुवार को कहा कि हमने कुछ साल पहले कनाडा से लॉरेंस बिश्नोई गिरोह के सदस्यों के प्रत्यर्पण की मांग की थी, लेकिन इस पर कनाडा सरकार ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी।
हमने प्रत्यर्पण की अपील की थी
गुरुवार को प्रेस ब्रीफिंग के दौरान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रंधीर जयसवाल ने बताया कि हाल के दिनों में भी बिश्नोई गिरोह से जुड़े सिंडिकेट्स के लिए इसी तरह की प्रत्यर्पण की अपिल की गई थी। लेकिन कनाडा की ओर से अब तक कोई प्रतिक्रिया नहीं आई।
‘कनाडा ने कोई जवाब नहीं दिया’
MEA ने कहा कि हमने गुरजीत सिंह, गुरजिंदर सिंह, अर्शदीप सिंह गिल, लखबीर सिंह लांडा, गुरप्रीत सिंह के नाम प्रत्यर्पण के लिए कनाडा सरकार को दिए थे। इनमें से कुछ लोग बिश्नोई गैंग से भी जुड़े थे। लेकिन इस पर कनाडा ने कोई जवाब नहीं दिया।
‘निज्जर मामले में कनाडा ने कोई सबूत नहीं दिए’
ब्रिफिंग के दौरान, विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने यह दोहराया कि खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के संबंध में कनाडा ने कोई साक्ष्य साझा नहीं किया है।
उन्होंने जोर देकर कहा, “हमने इस विशेष मामले पर अपना रुख बहुत स्पष्ट कर दिया है। आपने देखा होगा कि पिछले दो दिनों में कई प्रेस विज्ञप्तियां जारी की गई हैं, जिनमें हमारे रुख को व्यक्त किया गया है। सितंबर 2023 से कनाडाई सरकार ने हमारे साथ कोई जानकारी साझा नहीं की है।”
‘कनाडा ने अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता’ का तर्क दिया’
विदेश मंत्रालय ने यह भी कहा कि जब भी भारत ने भारत-विरोधी और अलगाववादी तत्वों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की, कनाडा ने हमेशा ‘अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता’ का तर्क दिया।
विदेश मंत्रालय का यह बयान ऐस समय में सामने आया है, जब कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने भारत पर आरोप लगाते हुए कहा था कि भारतीय राजनयिक कनाडाई नागरिकों की जानकारी जूटा रहे थे और इसे लॉरेंस बिश्नोई गैंग को भेज रहे थे। वहीं कुछ दिन पहले कनाडा की कैनेडियन माउंटेड पुलिस (RCMP) ने कहा था कि उनके पास ऐसे सबूत हैं जो यह दर्शाते हैं कि कनाडा में लॉरेंस बिश्नोई गैंग भारतीय एजेंट्स के साथ मिलकर काम कर रहा है।
कनाडा ने लगाए थे भारत पर ये आरोप
बता दें कि कुछ दिन पहले ही कनाडा सरकार ने खालिस्तानी आतंकी निज्जर की हत्या मामले में भारत पर आयोप लगाया था। कनाडा ने आरोप लगाते हुए कहा था कि निज्जर की हत्या में भारतीय राजनायिकों का हाथ है। इस मामले कनाडा में भारतीय उच्चायुक्त और अन्य राजनयिकों को ‘पर्सन ऑफ इंटरेस्ट’ के रूप में नामित किया था।
भारत ने क्या कहा?
कनाडा के इन आरोपों को भारत सरकार ने निराधार बताते हुए खारिज कर दिया था। भारत सरकार ने कहा था कि वह लगातार कनाडा सरकार से निज्जर हत्या मामले में भारत की संलिप्तता के सबूत मांगता रहा है, लेकिन कनाडा सरकार ने कोई सबूत पेश नहीं किए हैं।
वहीं इन सब घटनाक्रम के बाद भारत सरकार ने कनाडा के 6 राजनायिकों को निष्काषित करते हुए 19 अक्टूबर रात 12 बजे से पहले देश छोड़कर निकल जाने को कहा है।
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