Israel and America: नई दिल्ली। अमेरिका ने इस्राइल के लिए 13 अरब डॉलर की एक नई सैन्य सहायता को मंजूरी दी है। वहीं दूसरी ओर अमेरिका इस्राइल की एक सैन्य बटालियन पर प्रतिबंध लगाने की तैयारी कर रहा है। ये प्रतिबंध बटालियन द्वारा फलस्तीनी लोगों के खिलाफ किए गए मानवाधिकार उल्लंघन के लिए लगाया जा सकता है। तो वहीं इस कदम की इस्राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने निंदा की है।
प्रतिबंध लगाने का एलान जल्द
फलस्तीन वेस्ट बैंक में इस्राइली सेना (Israel and America) पर मानवाधिकार उल्लंघन के गंभीर आरोप लगते रहे हैं। ऐसे में अमेरिका वहां आम लोगों को निशाना बनाने के आरोप में नेत्जाह येहुदा बटालियन पर प्रतिबंध लगाने का एलान जल्द कर सकती है। अगर ऐसा हुआ तो इस्राइली सैन्य टुकड़ी के खिलाफ राष्ट्राध्यक्ष जो बाइडन प्रशासन की पहली बड़ी कार्रवाई होगी।
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इस्राइली पीएम नेतन्याहू नाराज
इस अमेरिका के संभावित कदम से इस्राइली प्रधानमंत्री नेतन्याहू (Israel and America) नाराज हैं। उन्होंने शनिवार रात कहा, इस्राइली रक्षा बलों पर प्रतिबंध नहीं लगाया जाना चाहिए। हमारे सैनिक आतंकवादियों से लड़ रहे हैं। आईडीएफ यूनिट पर प्रतिबंध लगाने का इरादा बेतुकापन है। मैं इस्राइली सरकार का नेतृत्व कर रहा हूं, इन कदमों के खिलाफ सभी तरीकों से कार्रवाई करेगी।
एक्शन कई तरह के सवाल खड़े
आपको बता दें कि अमेरिका (Israel and America) इससे पहले ईरान पर भी इस्राइल पर हमला करने के लिए कई तरह से प्रतिबंध लगा चुका है। इसके बाद इस्राइल के खिलाफ उनका एक्शन कई तरह के सवाल खड़े करता हैं। इस्राइली मंत्री इतामर बेन ग्विर और बेजेल स्मोट्रिच ने भी अमेरिका के फैसले की कड़ी आलोचना की है। हमारे सैनिकों पर प्रतिबंध लगाना खतरे का संकेत है।
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इस्राइली मंत्री इतामर बेन ग्विर
नेत्जाह येहुदा (Israel and America) के सदस्यों की रक्षा की जानी चाहिए। इस्राइली मंत्री इतामर बेन ग्विर और बेजेल स्मोट्रिच ने रक्षा मंत्री योव गैलेंट से भी अमेरिकी आदेश के आगे न झुकने का आह्वान किया। वित्त मंत्री बेजेलेल स्मोट्रिच ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर बयान में नेत्जाह येहुदा पर प्रतिबंध लगाने की अमेरिकी योजना के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है।