उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने राजनीतिक भविष्य को लेकर खुलकर बात की। इंडिया टुडे के एक कार्यक्रम में जब उनसे पूछा गया कि क्या वह बीजेपी के भविष्य के नेता के रूप में खुद को देखते हैं, तो उन्होंने साफ कहा, “मैं कोई वारिस नहीं हूं, मैं सिर्फ एक योगी हूं और इसी रूप में काम करना चाहता हूं।”
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि वह भारत माता के सेवक हैं और जनता की सेवा करना ही उनका कर्तव्य है। उन्होंने अपनी इच्छा जाहिर करते हुए कहा कि अगर उन्हें काम करते-करते गोरखपुर जाने का मौका मिले, तो वह खुशी-खुशी वहां जाएंगे, क्योंकि इससे उन्हें अपने “योगी धर्म” को आगे बढ़ाने का अवसर मिलेगा। जब उनसे पूछा गया कि क्या वह गोरखपुर जाना पसंद करेंगे या दिल्ली आना चाहेंगे, तो उन्होंने साफ कहा, “मैं गोरखपुर जाने के लिए ज्यादा उत्सुक हूं।”
धर्म पर अपनी सोच साझा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि लोग अक्सर संन्यास को दुनिया छोड़ने और आत्मिक शांति पाने का रास्ता मानते हैं, लेकिन असली धर्म सिर्फ यही नहीं है। उनके अनुसार, सच्चा धर्म दो चीजों पर टिका होता है—पहला, समाज की भौतिक उन्नति और जनता का कल्याण, और दूसरा, आध्यात्मिक विकास और मोक्ष की प्राप्ति।
आदि शंकराचार्य और गौतम बुद्ध के विषय में बताई ये बात
सीएम योगी ने अपने भाषण में गौतम बुद्ध और आदि शंकराचार्य का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि दोनों महापुरुषों ने अपना जीवन समाज की भलाई और भारत की आध्यात्मिक व दार्शनिक परंपराओं को मजबूत करने में समर्पित कर दिया। भगवान बुद्ध ने ज्ञान प्राप्ति के बाद पूरे 36 साल तक अपने ज्ञान को लोगों तक पहुंचाया, ताकि मानवता को लाभ मिल सके। वहीं, आदि शंकराचार्य ने पूरे देश की यात्रा कर चार पीठों की स्थापना की और राजाओं व शासकों को सही दिशा में प्रेरित किया।
भारतीय परंपराओं को बदनाम करने की कोशिश करते हैं विपक्षी
सीएम योगी ने विपक्षी दलों पर निशाना साधते हुए कहा कि अगर उन्होंने कभी सच में भारत की विरासत और इसके प्रतीकों को समझने की कोशिश की होती, तो उनके मन में ऐसी नकारात्मक सोच नहीं आती। उन्होंने कहा कि जो लोग बार-बार हिंदुओं को सांप्रदायिक कहते हैं और भारतीय परंपराओं को बदनाम करने की कोशिश करते हैं, वही असल में देश की संस्कृति को नुकसान पहुंचा रहे हैं।
हमें अपनी भारतीय विरासत पर गर्व होना चाहिए: सीएम योगी
सीएम योगी ने कहा कि हमें अपनी भारतीय विरासत पर गर्व होना चाहिए। हर नागरिक को इस पर सम्मान और खुशी महसूस करनी चाहिए। उन्होंने यह भी देखा कि अब कई वामपंथी विचारधारा वाले लोग भी स्वामी विवेकानंद का नाम ले रहे हैं। इस पर उन्होंने स्वामी विवेकानंद के एक प्रसिद्ध वाक्य को याद दिलाते हुए कहा – “गर्व से कहो कि हम हिंदू हैं।”
सीएम योगी ने कहा कि यह बात सिर्फ वामपंथियों के लिए ही नहीं, बल्कि हर भारतीय के लिए है। हमें अपने धर्म, संस्कृति और परंपराओं पर गर्व होना चाहिए और पूरे आत्मविश्वास के साथ इसे स्वीकार करना चाहिए।